वन के  जलस्तरीय क्षेत्र में ४३२ चौ.कि.मी. वृद्धि

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वन विभाग के जलयुक्त वन कार्यक्रम की सफलता

मुंबई, दि. ७ : वन विभाग की ओर से जलयुक्त शिवार अभियान के अंतर्गत पिछले तीन माह से बड़े पैमाने पर कार्य किए है जिससे वनों के जलस्तरीय क्षेत्र में ४३२ चौ.कि.मी. की वुद्धि होने का रिकार्ड भारतीय वन सर्वेक्षण रिपोर्ट २०१७ में की दर्ज किया गया है।
वर्ष २०१५ की भारतीय वन स्थिति रिपोर्ट के अनुसार कुल जलस्तरीय क्षेत्र १११६ चौ. कि.मी. था जो वर्ष २०१७ में बढ़कर १५४८ चौ.कि.मी. हुआ है। जलस्तर क्षेत्र में यह वृद्धि ४३२ चौ कि.मी. है। जलयुक्त शिवार, जलसंधारण केद्वारा चलाए जा रहे कार्यों से यह वृद्धि संभव हुई है। वनयुक्त शिवार कार्यक्रम करते समय जलयुक्त वन कार्यक्रम को वन विभाग ने गति दी। यह उसी का सकारात्मक प्रतिसाद है। यह वनमंत्री सुधीर मुनगंटीवार ने इस पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुये कहा।
२०१४-१५ से २०१६-१७  सत्र के पिछले तीन सालों में विभाग ने ३३ हजार ७४७ कार्य मंजूर किए है। इसमें से २८ हजार ७४१ कार्य पूरे होने की जानकारी भी उन्होंने दी। बारिश का पानी रोककर उसे जमीन में जाना, भूजलस्तर बढ़ाना,जनसहभागिता से जलस्त्रोतों की जल क्षमता बढ़ाना, लोगों में पानी के उपयोग के प्रति जनजागृति करना आदि आयामों को सामने रखकर राज्य में जलयुक्त शिवार योजना का कार्य किया जा रहा है।
श्री. मुनगंटीवार ने बताया कि वन विभाग भी इसमें पीछे नहीं नहीं है। वन विभाग ने अब तक नालाबांध, वन तालाब, सीसीटी बांध, गॅबियन बांध, सिमेंट के बांध, ल्युज बोल्डर स्ट्रक्चर, जल शोषक गड्ढे जैसे कार्य जलयुक्त शिवार कार्यक्रम से लिए है। वन विभाग ने २०१४-१५ में  ५ हजार २०१ कार्य मंजूर किए  थे जिसमें से ४ हजार ३७६ कार्य पूरे हुये है।  इन कार्यों पर साधारणत: ७५ करोड़ रूपए खर्च हुये है। २०१५-१६ में  विभाग ने  १४ हजार ६३५ कार्य मंजूर किए है। उसमें से १२ हजार ७६५ कार्य पूरे हुये है। इसके लिए साधारणत: २०२ करोड़ रूपए खर्च हुआ है। वहीं २०१६-१७ में  विभाग ने १३ हजार ९११ कार्य मंजूर किए थे जिसमें से ११ हजार ६०० कार्य पूरे हुये है और इस पर अंदाजन १९२ करोड़ रूपए खर्च हुआ है। वन विभाग ने जलयुक्त शिवार कार्यक्रम में पहल करके बड़े पैमाने पर कार्य करने पर मंत्रिमंडक की बैठक में लगातार दो बार विभाग के अभिनंदन का प्रस्ताव पारित होने की बात भी
श्री. मुनगंटीवार ने कहीं है।