हजारो नागरिकों ने उठाया अटल महाआरोग्य शिविर का लाभ

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गोंदिया। जिले के सालेकसा तहसील में कचारगड़/धनेगांव में आदिवासी समाज के धार्मिक स्थल पारी कोपार लिंगो मां कली कंकाली के दर्शन हेतु चल रहे कोयापुनेम महोत्सव के पहले दिन 18 फरवरी को अटल महाआरोग्य शिविर का आयोजन जिला प्रशासन व आरोग्य विभाग के माध्यम से आयोजित किया गया था। विधायक परिणय फुके की अनुशंषा पर मुख्यमंत्री के विशेष ध्यानकेन्द्रित करने पर इस महाआरोग्य शिविर का आयोजन भव्य स्तर पर किया गया, हजारों कि संख्या मे महिला-पुरूषों ने स्वास्थ्य सुविधा का लाभ उठाया।
इस शिविर में मरीजों की व्यवस्था के लिए पुख्ता इंतजाम किए गए थे। जगह-जगह पंजीकरण स्टॉल, मार्गदर्शन के लिए वालंटियर एवं मरीजों के लिए चाय-बिस्किट की व्यवस्था रखी गई थी। इस शिविर को क्षेत्र के विधायक संजय पुराम व गोंडवाना महाअधिवेशन समिती के अध्यक्ष दुर्गाप्रसाद कोकोटे का महत्वपूर्ण योगदान प्राप्त रहा।

ग्रामीण अंचल में पहली बार इतने बड़े पैमाने में अटल महाआरोग्य शिविर का आयोजन किया गया। इस महाआरोग्य शिविर की संकल्पना भंडारा-गोंदिया विधान परिषद क्षेत्र के विधायक डॉ. परिणय फुके ने की थी, जिसे संपन्न कराने में उनका महत्वपूर्ण योगदान रहा। श्री परिणय फुके के विशेष आग्रह पर मुख्यमंत्री देवेन्द्र फड़णवीस ने अपने विशेष अमले को इस कचारगड़ महोत्सव में जनस्वास्थ्य को देखते हुए तथा ग्रामीण जनता को बेहतर आरोग्य सुविधा का लाभ दिलाने हेतु आदेश जारी किए थे। इसके अलावा मुख्यमंत्री फड़णवीस ने जटील बीमारीयांे से जुझ रहे मरीजों को महंगी से महंगी स्वास्थ्य सुविधा व शस्त्रक्रिया का लाभ मुख्यमंत्री सहायता कोष व महात्मा ज्योतिबाफुले आरोग्य योजना से दिलाने की घोषणा की थी। इसी का प्रतिफल है कि श्री परिणय फुके ने जो प्रयास किया आज उसका लाभ हजारों लोगों को प्रशासकीय स्तर पर प्राप्त हुआ और आर्थिक रूप से तंगहाल जटील बीमारीयों से जुझ रहे मरीजों को 1 लाख से 8 लाख रूपयों तक का इलाज मुंबई जैसे शहर के बेहतर हॉस्पीटलों में कराने का अवसर प्राप्त हुआ।

83 मरीजों का शस्त्रक्रिया के लिए चयन
अटल महाआरोग्य शिविर में कुल 16 हजार नागरिकों ने स्वास्थ्य सुविधा का लाभ उठाया। इस शिविर में 25 सामान्य रोग के स्टॉल, 10 स्पेशिलिटी के स्टॉल, 6 ईसीजी, 4 नेत्ररोग, 10 पंजीकरण, 4 रक्त जांच, 2 हेल्थ डेस्क, 6 दवाईयों के स्टॉल, 4 योजनाओं की जानकारी देने के स्टॉल लगाए गए थे। जिसमें जनरल मेडिसीन, आर्थोपेडिक, जनरल सर्जरी, ईएनटी, स्त्रीरोग, कैंसर, हदयरोग, पीडीयाट्रिक, नेत्ररोग, चर्मरोग, दंत व अन्य रोगों के विशेषज्ञों की टीम मौजूद थी।
इस महाआरोग्य शिविर में जटील बीमारीयों से जुझ रहे 83 मरीज पाएं गए, जिनका इलाज के लिए चयन हुआ है। इन सभी 83 मरीजों का इलाज 1 लाख रूपये से लेकर 8 लाख रूपये तक मुंबई शहर के सुप्रसिध्द अस्पतालों में किया जाएगा। इलाज में लगने वाली निधी मुख्यमंत्री सहायता कोष व महात्मा ज्योतिबा फुले जनआरोग्य योजना अंतर्गत खर्च की जाएगी। विशेष है कि मरीज व उनके परीजनों का आने-जाने व रहने खाने का खर्च सब सरकार उठाएंगी।महाआरोग्य शिविर में लगभग 4-5 सौ स्वंयसेवकों ने दी सेवाएं, स्मृतीचिन्ह देकर सम्मानित किया गया

अटल महाआरोग्य शिविर में मरीजों को, नागरिकों को पर्याप्त व्यववस्था का लाभ दिलाने हेतु करीब चार सौ से पांच सौ स्वयं सेवक अपनी सेवाएं प्रदान कर रहे थे। पहली बार इतनी तादाद में स्वयंसेवकों को सेवा प्रदान करते देखा गया। इन सभी स्वयंसेवकों को बेहतर सेवाएं प्रदान करने पर विधायक परिणय फुके, विधायक संजय पुराम, विधायक विजय रहांगडाले, आदिवासी कल्याण अध्यक्ष विधायक अशोक उईके, राजे अम्ब्रिशराव आत्राम आदि मान्यवरों ने स्मृतीचिन्ह देकर उन्हंे सम्मानित किया।

570 डाक्टर-कर्मचारियों का स्टॉफ रहा मौजूद
इस महाआरोग्य शिविर में लगभग 30 शासकीय व अशासकीय हॉस्पीटलों के कुल 570 डाक्टरों व उनके सहयोगियों का स्टॉफ मौजूद रहा। इसमें स्पेशलिस्ट डाक्टर 80, नर्सिंग स्टाफ 150, अन्य रोगों के विशेषज्ञों संख्या 320, लॅब टेक्निशियन व फार्मासिस्ट की संख्या 100 रही। महाआरोग्य शिबिर सुबह 10 बजे से शाम 5 बजे तक सेवाएं देता रहा यह विशेष उल्लेखनीय है।